
श्री चित्रगुप्त जी की आरती - श्री विरंचि कुलभूषण
ॐ जय चित्रगुप्त हरे, स्वामी जय चित्रगुप्त हरे। भक्तजनों के इच्छित, फल को पूर्ण करे॥
Aarti
पवन मंद सुगंध शीतल, हेम मंदिर शोभितम् । निकट गंगा बहत निर्मल, श्री बद्रीनाथ विश्व्म्भरम्...
Aarti
ॐ जय शीतलनाथ स्वामी, स्वामी जय शीतलनाथ स्वामी। घृत दीपक से करू आरती, घृत दीपक से करू आरती।
Aarti
आरती (Aarti, Arti, arati) is a special love, benevolence and gratitude songs which is the part of puja ritual with ghee or oil deepak (lamp). , divine elements or Guru (spiritual teacher). Bhakti Bharat updates you 71+ aarti lyrics.