इन्द्र देव गायत्री मन्त्र (Indra Dev Gayatri Mantra)


॥ इन्द्र देव गायत्री मन्त्र ॥
ॐ सहस्त्रनेत्राय विद्महे वज्रहस्ताय धीमहि।
तन्नो इन्द्रः प्रचोदयात्॥
Indra Dev Gayatri Mantra - Read in English
Om Sahastranetraya Vidmahe Vajrahastaya Dhimahi। Tanno Indra: Prachodayat॥
मन्त्र अर्थ
ॐ! हम उन भगवान श्री इन्द्र का ध्यान करें, जिनके सहस्र नेत्र हैं, तथा जो अपने हाथ में वज्र धारण किये हैं, वे भगवान इन्द्र हमारी बुद्धि एवं मन को ज्ञान से प्रकाशित करें तथा हमें सन्मार्ग की ओर प्रेरित करें।
Mantra Indra Dev Gayatri Mantra MantraGayatri MantraIndra Dev Vadic MantraVed MantraArya Samaj MantraFamous MantraMost Popular Mantra
अगर आपको यह मंत्र पसंद है, तो कृपया शेयर, लाइक या कॉमेंट जरूर करें!


* कृपया अपने किसी भी तरह के सुझावों अथवा विचारों को हमारे साथ अवश्य शेयर करें।** आप अपना हर तरह का फीडबैक हमें जरूर साझा करें, तब चाहे वह सकारात्मक हो या नकारात्मक: यहाँ साझा करें

मंत्र ›

भगवती स्तोत्र

जय भगवति देवि नमो वरदे जय पापविनाशिनि बहुफलदे। जय शुम्भनिशुम्भकपालधरे प्रणमामि तु देवि नरार्तिहरे॥1॥

श्री काशी विश्वनाथ अष्टकम: मंत्र

गङ्गा तरङ्ग रमणीय जटा कलापं, गौरी निरन्तर विभूषित वाम भागं, नारायण प्रियमनङ्ग मदापहारं..

शिव पंचाक्षर स्तोत्र मंत्र

॥ श्रीशिवपञ्चाक्षरस्तोत्रम् ॥ नागेन्द्रहाराय त्रिलोचनाय भस्माङ्गरागाय महेश्वराय।

महामृत्युंजय मंत्र

मंत्र के 33 अक्षर हैं जो महर्षि वशिष्ठ के अनुसार 33 कोटि(प्रकार)देवताओं के द्योतक हैं।

शिव स्तुति: ॐ वन्दे देव उमापतिं सुरगुरुं

ॐ वन्दे देव उमापतिं सुरगुरुं, वन्दे जगत्कारणम् । वन्दे पन्नगभूषणं मृगधरं..