Shri Krishna Bhajan

क्यों हो गई चौखट से दूरी: भजन (Kyo Ho Gayi Chokhat Se Duri)


क्यों हो गई चौखट से दूरी: भजन
क्यों हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो,
मर्यादा से श्याम रिझा लो,
मर्यादा से श्याम रिझा लो,
आदत जरा सुधार लो,
क्यूँ हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो ॥
कलजुग का दातार है प्यारे,
इसे परखना आता है,
देव बड़ा अलबेला है ये,
लखदातार कुहाता है,
छोड़ के स्वारथ सच्चे भाव से,
छोड़ के स्वारथ सच्चे भाव से,
दिल से इसे पुकार लो,
क्यूँ हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो ॥

सौदागर बन सौदा करते,
लाड़ लड़ाना भूल गए,
धरम और मर्यादा भूले,
प्रभु शुकराना भूल गए,
झूठे टोटके झूठे चोचले,
झूठे टोटके झूठे चोचले,
दिल से जरा निकाल लो,
क्यूँ हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो ॥

सीखो अपने बड़ो से नियम,
खाटू आने जाने का,
मर्यादा और भाव से प्यारे,
सांवरिये को रिझाने का,
जनम हो जाएगा जी,
जनम हो जाएगा जी,
स्वारथ की गठरी उतार लो,
क्यूँ हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो ॥

सब सुख इसकी झोली में है,
जिसपे चाहे वार दे,
सरल भाव से जो कोई आवे,
उसका जनम सुधार दे,
‘रोमी’ कहता श्याम के दर पे,
‘रोमी’ कहता श्याम के दर पे,
अहंकार को मार लो,
क्यूँ हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो ॥

क्यों हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो,
मर्यादा से श्याम रिझा लो,
मर्यादा से श्याम रिझा लो,
आदत जरा सुधार लो,
क्यूँ हो गई चौखट से दूरी,
कुछ तो जरा विचार लो ॥

Kyo Ho Gayi Chokhat Se Duri in English

Kyon Ho Gae Chaukhat Se Duri, Kuchh To Jara Vichaar Lo, Maryada Se Shyam Rijha Lo, Maryada Se Shyam Rijha Lo, Aadat Jara Sudhar Lo, Kyon Ho Gae Chaukhat Se Duri, Kuchh To Jara Vichaar Lo ॥
यह भी जानें

Bhajan Shri Vishnu BhajanShri Krishna BhajanBrij BhajanBaal Krishna BhajanBhagwat BhajanJanmashtami BhajanShri Shayam BhajanHariyali Teej Bhajan

अगर आपको यह भजन पसंद है, तो कृपया शेयर, लाइक या कॉमेंट जरूर करें!

Whatsapp Channelभक्ति-भारत वॉट्स्ऐप चैनल फॉलो करें »
इस भजन को भविष्य के लिए सुरक्षित / बुकमार्क करें Add To Favorites
* कृपया अपने किसी भी तरह के सुझावों अथवा विचारों को हमारे साथ अवश्य शेयर करें।

** आप अपना हर तरह का फीडबैक हमें जरूर साझा करें, तब चाहे वह सकारात्मक हो या नकारात्मक: यहाँ साझा करें

नवीनतम भजन ›

शिव शंकर तुम कैलाशपति: भजन

शिव शंकर तुम कैलाशपति, है शीश पे गंग विराज रही, शिव शंकर तुम कैलाश-पति, है शीश पे गंग विराज रही ॥

राम भजन - राम का रत जगा, रत जगा राम का

राम का रत जगा, रत जगा राम का, गाओ बधाई शुभ घडी आयी, पलं पलं निसदिन हो राहा सुमिरन..

मैं दो-दो माँ का बेटा हूँ: भजन

मैं दो-दो माँ का बेटा हूँ, दोनों मैया बड़ी प्यारी है । एक माता मेरी जननी है, एक जग की पालनहारी है ॥

तेरे चरणों में सर को, झुकाता रहूं: भजन

तेरे चरणों में सर को, झुकाता रहूं, तू बुलाता रहे, और मैं आता रहूं ॥

लौट के आजा नंद के दुलारे - भजन

लौट के आजा नंद के दुलारे, उम्मीद लगाए, ना जाने मेरो, लाला कब आए ॥

खुल गये सारे ताले वाह क्या बात हो गयी: भजन

खुल गये सारे ताले वाह क्या बात हो गयी, जबसे जन्मे कन्हैया करामात हो गयी, था घनघोर अँधेरा कैसी रात हो गयी, जबसे जन्मे कन्हैया करामात हो गयी ॥

डगमग डोले जीवन नैया बीच फँसी मझधार - भजन

डगमग डोले जीवन नैया बीच फँसी मझधार, पार लगा दे खाटू वाले थाम के तू पतवार..

Aditya Hridaya Stotra - Aditya Hridaya Stotra
Ram Bhajan - Ram Bhajan
Bhakti Bharat APP